अजमेर, 23 नवंबर। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी रविवार को तीर्थराज पुष्कर पहुंचे। उन्होंने तीर्थनगरी में विश्वप्रसिद्ध ब्रह्मा मंदिर में जगतपिता ब्रह्मा की विधिवत पूजा अर्चना कर आशीर्वाद प्राप्त किया। मंदिर दर्शन के पश्चात मुख्यमंत्री का रावत धर्मशाला मत्स्य मंदिर में रावत समाज द्वारा पारंपरिक रूप से स्वागत किया गया।
इसके उपरांत उन्होंने अखिल भारतीय उत्तराखंड धर्मशाला उत्तराखंड आश्रम में राज्य सरकार की ओर से एक करोड़ रुपए की सहयोग राशि से निर्मित नवनिर्मित द्वितीय तल भवन के लोकार्पण समारोह में भाग लिया तथा भामाशाहों के सहयोग से 10 लाख रुपए की लागत से बनी लिफ्ट का भी शुभारम्भ किया।कार्यक्रम में पर्वतीय समाज बंधुओं द्वारा मुख्यमंत्री श्री धामी का गर्मजोशी से स्वागत किया गया।
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि धर्मशाला के द्वितीय तल के निर्माण से पुष्कर आने वाले श्रद्धालुओं के लिए सुविधाओं में इजाफा होगा। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड सरकार द्वारा प्रवासी सम्मेलन का नवाचार किया गया है। इसमें देशभर से प्रवासी जन बड़ी संख्या में भाग लेते हैं।
उन्होंने कहा कि जैसे समुद्र के समान कोई जलाशय नहीं, वैसे ही तीर्थराज पुष्कर के समान कोई दूसरा तीर्थ नहीं है। यह स्थान ब्रह्मा जी की स्थली होने के साथ अनेक ऋषियों की तपोभूमि रहा है तथा भारतीय संस्कृति, मानवता, तप और त्याग का जीवंत प्रेरणास्रोत है। उन्होंने कहा कि चारधाम यात्रा का पुण्य पुष्कर सरोवर में स्नान से प्राप्त होता है।
मुख्यमंत्री ने पर्वतीय समाज की सांस्कृतिक विरासत के संरक्षण के लिए किए जा रहे प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि राजस्थान और उत्तराखंड के बीच सामाजिक एवं सांस्कृतिक रिश्ते सुदृढ़ हो रहे हैं। उन्होंने प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देशभर के धार्मिक स्थलों पर किए जा रहे व्यापक विकास कार्यों का उल्लेख करते हुए कहा कि महाकाल लोक से लेकर देवभूमि के दुर्गम तीर्थों तक अभूतपूर्व परिवर्तन हुए हैं। उन्होंने कहा कि केदारनाथ के लिए रोपवे का निर्माण, हेमकुंड साहिब की सुगम यात्रा व्यवस्था, यमुना तीर्थ सर्किट, हरिद्वार में गंगा कॉरिडोर तथा शारदा कॉरिडोर जैसे महत्वपूर्ण प्रकल्पों पर तेजी से कार्य चल रहा है।
मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि देवभूमि की मूल संस्कृति के संरक्षण के लिए राज्य सरकार दृढ़ता से कार्य कर रही है। प्रदेश में कन्वर्जन विरोधी कानून, लव जिहाद तथा दंगा विरोधी कानून लागू किए गए हैं। इनके माध्यम से सामाजिक सौहार्द और धार्मिक भावनाओं की रक्षा सुनिश्चित की गई है। उन्होंने कहा कि राज्य में समान नागरिक संहिता लागू कर देश में एक नई मिसाल पेश की गई है। सरकारी एवं निजी संपत्तियों को नुकसान पहुँचाने वालों से वसूली की जाएगी और मदरसा बोर्ड को भंग कर सभी विद्यालयों में सरकारी बोर्ड द्वारा निर्धारित पाठ्यक्रम लागू करने का निर्णय भी इसी दिशा में उठाया गया कदम है। उन्होंने कहा कि ऑपरेशन कालनेमी के माध्यम से धार्मिक भावनाओं को आहत करने वाले तत्वों पर कड़ी कार्रवाई की गई है।
पर्वतीय समाज और प्रवासी उत्तराखंडवासियों से उन्होंने आह्वान किया कि वे राष्ट्रप्रेम और सांस्कृतिक मूल्यों को निरंतर सुदृढ़ करें । मुख्यमंत्री ने धर्मशाला के शेष कार्यों लाइटिंग, गरम पानी आदि की व्यवस्थाओं के लिए 50 लाख रुपए की अतिरिक्त राशि की घोषणा भी की।
जल संसाधन मंत्री श्री सुरेश रावत ने कहा कि उत्तराखंड सरकार द्वारा पुष्कर में धर्मशाला निर्माण को सहयोग देना एक सराहनीय कदम है। उन्होंने कहा कि गंगा में अस्थि विसर्जन के लिए उत्तराखंड पहुंचने वाले श्रद्धालु सब तीर्थों के बाद पुष्कर अवश्य आते हैं। इसलिए दोनों क्षेत्रों के लोगों का आत्मीय संबंध अत्यंत प्रगाढ़ है।
धरोहर संरक्षण एवं प्रोन्नति प्राधिकरण के अध्यक्ष श्री ओंकार सिंह लाखावत ने मुख्यमंत्री धामी की कार्यशैली को प्रेरणादायक बताते हुए कहा कि पुष्कर के समग्र विकास के लिए विशिष्ट परियोजना पर विचार-विमर्श प्रारंभ हो चुका है। उन्होंने कहा कि पुष्कर तीर्थों का गुरु है जहाँ भारतवर्ष के सभी समाजों के गुरु स्थान और बही उपलब्ध हैं तथा राजस्थान और उत्तराखंड मिलकर अनेक तीर्थ स्थलों के विकास में बड़ी भूमिका निभा सकते हैं।
विधायक श्री कुलदीप धनकड़ ने कहा कि उत्तराखंड के विकास में मुख्यमंत्री धामी के नेतृत्व में नई गति आई है । धर्मशाला को आधुनिक सुविधाओं से युक्त बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कार्य हुए हैं।
कार्यक्रम के दौरान उत्तराखंड आश्रम पर आधारित स्मारिका पुस्तिका का विमोचन किया गया तथा भामाशाहों एवं विभिन्न गणमान्य व्यक्तियों जिला कलक्टर श्री लोकबंधु, अतिरिक्त जिला कलक्टर सुश्री ज्योति ककवानी, नगर परिषद आयुक्त श्री जनार्दन शर्मा सहित अन्य गणमान्यों का सम्मान किया गया। साथ ही भामाशाहों का सम्मान किया गया। इसमें श्री संदीप पांडे , श्री बुद्धिप्रकाश,डॉ भारत , श्री प्रताप सिंह रावत , श्री लक्ष्मण सिंह बिष्ट, श्री हरीश चंद्र पांडे , श्री आनंद सिंह , श्रीमती मंजू मासीवाल सहित अन्य को सम्मानित किया गया।
अखिल भारतीय उत्तराखंड धर्मशाला के अध्यक्ष एवं संरक्षक श्री एस. एस. तड़ागी ने बताया कि पर्वतीय समाज की संस्था वर्ष 1936 से सक्रिय है और सदस्य, भामाशाहों तथा जनप्रतिनिधियों के सहयोग से आज विशाल धर्मशाला का निर्माण संभव हुआ है। उन्होंने बताया कि नव-निर्मित द्वितीय तल में श्रद्धालुओं के लिए 15 वातानुकूलित कक्ष उपलब्ध होंगे। इसके निर्माण में उत्तराखंड सरकार का एक करोड़ रुपए का महत्त्वपूर्ण सहयोग रहा है। इस अवसर पर बड़ी संख्या में पर्वतीय समाजउत्तराखंड के मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी पहुंचे पुष्कर
ब्रह्मा मंदिर में की पूजा अर्चना
अखिल भारतीय उत्तराखंड धर्मशाला के नवनिर्मित द्वितीय तल भवन के लोकार्पण कार्यक्रम में लिया भाग
प्रधानमंत्री श्री मोदी के नेतृत्व में तीर्थ स्थलों पर अभूतपूर्व विकास—श्री धामी
अजमेर, 23 नवंबर। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी रविवार को तीर्थराज पुष्कर पहुंचे। उन्होंने तीर्थनगरी में विश्वप्रसिद्ध ब्रह्मा मंदिर में जगतपिता ब्रह्मा की विधिवत पूजा अर्चना कर आशीर्वाद प्राप्त किया। मंदिर दर्शन के पश्चात मुख्यमंत्री का रावत धर्मशाला मत्स्य मंदिर में रावत समाज द्वारा पारंपरिक रूप से स्वागत किया गया।
इसके उपरांत उन्होंने अखिल भारतीय उत्तराखंड धर्मशाला उत्तराखंड आश्रम में राज्य सरकार की ओर से एक करोड़ रुपए की सहयोग राशि से निर्मित नवनिर्मित द्वितीय तल भवन के लोकार्पण समारोह में भाग लिया तथा भामाशाहों के सहयोग से 10 लाख रुपए की लागत से बनी लिफ्ट का भी शुभारम्भ किया।कार्यक्रम में पर्वतीय समाज बंधुओं द्वारा मुख्यमंत्री श्री धामी का गर्मजोशी से स्वागत किया गया।
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि धर्मशाला के द्वितीय तल के निर्माण से पुष्कर आने वाले श्रद्धालुओं के लिए सुविधाओं में इजाफा होगा। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड सरकार द्वारा प्रवासी सम्मेलन का नवाचार किया गया है। इसमें देशभर से प्रवासी जन बड़ी संख्या में भाग लेते हैं।
उन्होंने कहा कि जैसे समुद्र के समान कोई जलाशय नहीं, वैसे ही तीर्थराज पुष्कर के समान कोई दूसरा तीर्थ नहीं है। यह स्थान ब्रह्मा जी की स्थली होने के साथ अनेक ऋषियों की तपोभूमि रहा है तथा भारतीय संस्कृति, मानवता, तप और त्याग का जीवंत प्रेरणास्रोत है। उन्होंने कहा कि चारधाम यात्रा का पुण्य पुष्कर सरोवर में स्नान से प्राप्त होता है।
मुख्यमंत्री ने पर्वतीय समाज की सांस्कृतिक विरासत के संरक्षण के लिए किए जा रहे प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि राजस्थान और उत्तराखंड के बीच सामाजिक एवं सांस्कृतिक रिश्ते सुदृढ़ हो रहे हैं। उन्होंने प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देशभर के धार्मिक स्थलों पर किए जा रहे व्यापक विकास कार्यों का उल्लेख करते हुए कहा कि महाकाल लोक से लेकर देवभूमि के दुर्गम तीर्थों तक अभूतपूर्व परिवर्तन हुए हैं। उन्होंने कहा कि केदारनाथ के लिए रोपवे का निर्माण, हेमकुंड साहिब की सुगम यात्रा व्यवस्था, यमुना तीर्थ सर्किट, हरिद्वार में गंगा कॉरिडोर तथा शारदा कॉरिडोर जैसे महत्वपूर्ण प्रकल्पों पर तेजी से कार्य चल रहा है।
मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि देवभूमि की मूल संस्कृति के संरक्षण के लिए राज्य सरकार दृढ़ता से कार्य कर रही है। प्रदेश में कन्वर्जन विरोधी कानून, लव जिहाद तथा दंगा विरोधी कानून लागू किए गए हैं। इनके माध्यम से सामाजिक सौहार्द और धार्मिक भावनाओं की रक्षा सुनिश्चित की गई है। उन्होंने कहा कि राज्य में समान नागरिक संहिता लागू कर देश में एक नई मिसाल पेश की गई है। सरकारी एवं निजी संपत्तियों को नुकसान पहुँचाने वालों से वसूली की जाएगी और मदरसा बोर्ड को भंग कर सभी विद्यालयों में सरकारी बोर्ड द्वारा निर्धारित पाठ्यक्रम लागू करने का निर्णय भी इसी दिशा में उठाया गया कदम है। उन्होंने कहा कि ऑपरेशन कालनेमी के माध्यम से धार्मिक भावनाओं को आहत करने वाले तत्वों पर कड़ी कार्रवाई की गई है।
पर्वतीय समाज और प्रवासी उत्तराखंडवासियों से उन्होंने आह्वान किया कि वे राष्ट्रप्रेम और सांस्कृतिक मूल्यों को निरंतर सुदृढ़ करें । मुख्यमंत्री ने धर्मशाला के शेष कार्यों लाइटिंग, गरम पानी आदि की व्यवस्थाओं के लिए 50 लाख रुपए की अतिरिक्त राशि की घोषणा भी की।
जल संसाधन मंत्री श्री सुरेश रावत ने कहा कि उत्तराखंड सरकार द्वारा पुष्कर में धर्मशाला निर्माण को सहयोग देना एक सराहनीय कदम है। उन्होंने कहा कि गंगा में अस्थि विसर्जन के लिए उत्तराखंड पहुंचने वाले श्रद्धालु सब तीर्थों के बाद पुष्कर अवश्य आते हैं। इसलिए दोनों क्षेत्रों के लोगों का आत्मीय संबंध अत्यंत प्रगाढ़ है।
धरोहर संरक्षण एवं प्रोन्नति प्राधिकरण के अध्यक्ष श्री ओंकार सिंह लाखावत ने मुख्यमंत्री धामी की कार्यशैली को प्रेरणादायक बताते हुए कहा कि पुष्कर के समग्र विकास के लिए विशिष्ट परियोजना पर विचार-विमर्श प्रारंभ हो चुका है। उन्होंने कहा कि पुष्कर तीर्थों का गुरु है जहाँ भारतवर्ष के सभी समाजों के गुरु स्थान और बही उपलब्ध हैं तथा राजस्थान और उत्तराखंड मिलकर अनेक तीर्थ स्थलों के विकास में बड़ी भूमिका निभा सकते हैं।
विधायक श्री कुलदीप धनकड़ ने कहा कि उत्तराखंड के विकास में मुख्यमंत्री धामी के नेतृत्व में नई गति आई है । धर्मशाला को आधुनिक सुविधाओं से युक्त बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कार्य हुए हैं।
कार्यक्रम के दौरान उत्तराखंड आश्रम पर आधारित स्मारिका पुस्तिका का विमोचन किया गया तथा भामाशाहों एवं विभिन्न गणमान्य व्यक्तियों जिला कलक्टर श्री लोकबंधु, अतिरिक्त जिला कलक्टर सुश्री ज्योति ककवानी, नगर परिषद आयुक्त श्री जनार्दन शर्मा सहित अन्य गणमान्यों का सम्मान किया गया। साथ ही भामाशाहों का सम्मान किया गया। इसमें श्री संदीप पांडे , श्री बुद्धिप्रकाश,डॉ भारत , श्री प्रताप सिंह रावत , श्री लक्ष्मण सिंह बिष्ट, श्री हरीश चंद्र पांडे , श्री आनंद सिंह , श्रीमती मंजू मासीवाल सहित अन्य को सम्मानित किया गया।
अखिल भारतीय उत्तराखंड धर्मशाला के अध्यक्ष एवं संरक्षक श्री एस. एस. तड़ागी ने बताया कि पर्वतीय समाज की संस्था वर्ष 1936 से सक्रिय है और सदस्य, भामाशाहों तथा जनप्रतिनिधियों के सहयोग से आज विशाल धर्मशाला का निर्माण संभव हुआ है। उन्होंने बताया कि नव-निर्मित द्वितीय तल में श्रद्धालुओं के लिए 15 वातानुकूलित कक्ष उपलब्ध होंगे। इसके निर्माण में उत्तराखंड सरकार का एक करोड़ रुपए का महत्त्वपूर्ण सहयोग रहा है। इस अवसर पर बड़ी संख्या में पर्वतीय समाज बंधु उपस्थित रहे । बंधु उपस्थित रहे ।
![]()